अपनी इज़्ज़त को ईमानदारी के चादर पर लपेट कर चलता हूंँ
ऊंँची-नीची पथरीली राहों पर पैदल अकेले ही चलता हूंँ।
जानता हूंँ ईमानदारी एक महंगा शौक़ है गीत यह मैं गुनगुनाऊंँगा फिर भी
आपकी आवाज़ भी खनकती है पर आप सस्ती चीजों के शौकीन हैं।
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